दालचीनी के स्वास्थ्य लाभ - Health Benefits of Dalchini in Hindi

दालचीनी

दालचीनी के स्वास्थ्य लाभ और नुकसान ( Health Benefits of Dalchini in Hindi ) : दालचीनी याने cinnamon एक बहुत ही उपयोगी मसाला है। इस की ख़ासियत है की यह मीठे व्यंजन में भी उपयोग किया जाता है और नमकीन व्यंजनों में भी इस्तेमाल करते है। दालचीनी के गुण और खुश्बू का कारण है सिनेमैल्डिहाइड(cinnamaldehyde) तत्व। दालचीनी में लिनेलूल(lilalool) और मिथाइलछाविकल(methyl chavicol) भी पाया गया है मगर जो शरीर पर असर करता है वो तत्व है कूमेरिन (coumarin)। स्वाद और खुश्बू के अलावा दालचीनी स्वास्थ्य के लिए भी अत्यंत गुणकारी है।

दालचीनी क्या होती है - What is cinnamon in hindi

दालचीनी जो बज़ार में आम तौर पर मिलती है वो देशी है जो मोटी होती है और स्वाद उस में थोड़ा कम तीखा और कम तेज़ होता है। स्वाद के दृष्टि से श्री लंका का और साउथ अमेरिका की दालचीनी श्रेष्ट मानी गई है। यह इंडियन दालचीनी से पतली और काग़ज़ के रोल जैसी होती है दिखने में। दालचीनी के अंदर पाया गया कूमेरिन का गुण यह है कि यह खून को पतला कर देती है। साथ में यह भूख को भी दबाने में मदद करती है। इसका स्वाद थोड़ा तीखा और कड़वा होता है।दालचीनी अस्थमा(Asthma) याने दमा में उपयोगी है और दिल के लिए भी इतनी ही फायदकारक है। आगे पढ़िए दालचीनी के गुण और दालचीनी के फायदे।

गर्मियों में दालचीनी के फायदे - Dalchini benefits in summers in hindi

दालचीनी के फायदे अगर हिन्दी में बताए तो यह आप के शरीर को ठंडक पहुँचाती है। गर्मियों में आप तरबूज खाते है, कटे हुए टमाटर खाते है और नींबू का रस पीते है। श्रीखंड भी ठंडक पहुँचाता है। इन सभी के गुण और भी आप बढ़ा सकते है और दालचीनी के फायदे पा सकते है अगर थोड़ीसी  दालचीनी पाउडर इस में डाले तो। रिसर्च के अनुसार दालचीनी के सेवन से शरीर का तापमान 1 से 2 डिग्री कम हो जाता है। 
दालचीनी का एक छोटा सा टुकड़ा मुँह में रखे तो दाँत भी सुरक्षित रहते है। 

दालचीनी के लाभ शरीर पर - Dalchini powder benefits for body in hindi

आयुर्वेद में दालचीनी का रस मधुर और कटु माना गया है। दालचीनी के गुण हल्का, तीक्षणा, तीव्र और रूक्ष है। यह उष्णा वीर्य है और पाचन में कटु है। दालचीनी के फायदे हिन्दी में आप जाने उस से पहले जानिए दालचीनी का प्रभाव शरीर पर: 

  • दालचीनी पाचन क्रिया तेज कर देता है और आँतो को सुरक्षित रखता है।
  • आँतो में यह विष को नष्ट करता है याने की आज की भाषा में दालचीनी शरीर को डीटोक्सीफाइ (detoxify) करने में कारगर है।
  • दिल की बीमारी हो तो उपयोगी है दालचीनी और दालचीनी के रेग्युलर उपयोग से दिल मजबूत बना रहता है। हर रोज आप दालचीनी का पाउडर शहद के साथ मिला के सेवन करे।
  • दालचीनी के उपयोग और प्रयोग कई है। दालचीनी और शहद को मिला के चाटने से गले में खराश हो, सर्दी जुखाम और खाँसी हो तो बेहद राहत मिलती है। दालचीनी का गुण है की यह एन्टीबैक्टिरीअल(antibacterial), एंटी-इनफ्लेमेंट्री(anti-inflammatory) और एंटी-वाइरल(anti-viral) है।
  • दालचीनी के प्रयोग और उपयोग मूत्र संबंधी समस्या में उत्तम है। जलन हो या तकलीफ़ हो मूत्र प्रसार करने में तो दालचीनी पाउडर आधा चम्मच शहद और पानी में मिला के पीए।
  • आयुर्वेद के मुताबिक़ दालचीनी वायु का शमन करता है, पाचन तेज करता है, रूचि बढ़ाता है और पीड़ा हरता है।

दालचीनी का प्रयोग घरेलू नुस्खों में किस प्रकार होता है

दालचीनी सदियो से मसाले में उपयोग होता है और घर में अवश्य पाया जाता है। आप अब जानिए दालचीनी के घरेलू नुस्खे: 

  • पेट में दर्द हो, आँत में सूजन हो और गैस हो तो दालचीनी पाउडर के साथ एक चुटकी काली मिर्च पाउडर, एक चुटकी अजवाइन पाउडर और सावा के बीज का पाउडर सभी को शहद के साथ मिला के चाटते रहिए और इस का रस गले में उतरने दे। फ़ौरन छुटकारा मिलेगा।
  • खाँसी और सर्दी में दालचीनी बेनिफिट्स(dalchini benefits in hindi) जानिए और उपयोग इस तरह करे। दालचीनी पाउडर, यष्टि मधु पाउडर और काली मिर्च पाउडर एक चुटकी शहद के साथ मिला के गोली बनाए और एक गोली ज़बान के नीचे रखे और रस को गले में उतरने दे।
  • दालचीनी के फायदे आपकी त्वचा के लिए भी उपलब्ध है। अगर काले दाग पड़ गये है, कील हो गये है और मुहासो से परेशान है तो दालचीनी पाउडर लहसुन के पेस्ट के साथ मिलाए थोड़ीसी  हल्दी डाले और चेहरे के त्वचा पर अच्छी तरह घिस के रखे और फिर धो डाले।
  • त्वचा को कोमल और मुलायम बनाने में दालचीनी का उपयोग होता है। शहद के साथ मिला के त्वचा पर लगाए। त्वचा निखर जाती है और कील मुहासो से सुरक्षित रहेंगे आप।
  • अगर बच्चा बिस्तर गीला करता है तो उस को शहद पानी में मिला के दालचीनी पाउडर डाल के पिलाए या तो दालचीनी को पानी में उबाल के उस में शहद डाल एक चम्मच पिलाए।
  • महिलाओ को मासिक धर्म संबंधित समस्या रहती है। दालचीनी के फायदे है ऐसे महिला के लिए और राजोनिवृत महिला के लिए। यह मेटाबोलिज्म(metabolism) सुधार देता है। अगर गर्भधारण से मुक्ति प्राप्त करनी है तो अधिक मात्रा में दालचीनी के सेवन से गर्भ ठहरता नहीं है मगर ज़्यादा लेने से दालचीनी से नुकसान भी हो सकता है।
  • बुखार के बाद, मलेरिया के बाद अगर खाने के लिए भूख नहीं है तो दालचीनी, काली मिर्च और शहद दे मरीज़ को। मलेरिया के दौरान नीम के पत्ते के साथ दालचीनी उबाल के काढ़ा पिलाए तो जल्दी रिकवरी होगी। मलेरिया में यह दालचीनी के फायदे है।
  • दांतो में दर्द हो तो दालचीनी का एक टुकड़ा मुह में रख के चूसते रहे।
  • दालचीनी और नींबू का पानी बालो में लगाने से डैंड्रफ और फंगल इन्फेक्शन में फायदा होता है और बालो को झड़ने से रोकता है।

स्वस्थ संबंधित दालचीनी के महत्वपूर्ण फायदे

अब जानिए स्वस्थ संबंधित दालचीनी के फायदे: 

  • सर में दर्द हो तो दालचीनी और चंदन पाउडर को पानी में मिला के मस्तिष्क पर लेप करें।
  • डाइयबटीस जिन्हे है उन के लिए दालचीनी पाउडर के फायदे कई है। पहले तो यह ब्लड शुगर को कंट्रोल में रखता है। सवेरे आधा चम्मच दालचीनी पाउडर काफ़ी है। खाने में दालचीनी के पाउडर के फायदे है की यह पाचन सुधार देता है और शरीर में सूजन कम करता है और यह किड्नी और मूत्र मार्ग के लिए भी उपयोगी है। मगर ज़्यादा ना ले क्योंकि अतिरिक्त से नुकसान होता है।
  • दिल के स्वास्थय के लिए हर रोज थोड़ीसी दालचीनी पाउडर का सेवन आवश्य करे। इस से खून में नुकसानदायक कोलेस्टरॉल कम हो जाता है।
  • मोटापा दूर करना है तो दालचीनी का उपयोग करे। कोलेस्टरॉल कम करने के साथ लिवर के लिए श्रेष्ट है और चर्बी कम होगी। सवेरे गरम पानी में अदरक का रस, नींबू का रस और दालचीनी पाउडर डाल के पिए।
  • हाल ही में संशोधको ने देखा है की दालचीनी कैंसर ट्रीटमेंट में भी गुणकारी है। यह कैंसर को मिटा तो नहीं देता है मगर आगे बढ़ने से ज़रूर रोक देता है और मरीज़ को राहत मिलती है।
  • ऐसे ही दालचीनी के फायदे है की यह इम्यूनिटी(immunity) बढ़ाती है। HIV में दालचीनी से लाभ यह होता है की शरीर की प्रतिकारक शक्ति बढ़ती है और मरीज़ कम हैरान परेशान रहता है छोटी मोटी बिमारियों से।
  • जिन्हे अल्ज़ाइमर डिज़ीज़(Alzheimer’s disease) है और उनका सेंट्रल नर्वस सिस्टम डैमेज हो गया है तो हर रोज दालचीनी को घी में मिला के चाटने से इस बीमारी को आगे  बढ़ने से रोका जा सकता है। अगर आप स्वस्थ है और दालचीनी का सेवन करे तो जल्दी से अल्ज़ाइमर नहीं होगा। पार्किंसन रोग(Parkinson's disease) में भी दालचीनी के फायदे खूब है। 
  • गठिया और जोड़ो के दर्द में दालचीनी सूजन और दर्द को कम करता है। गरम घी में मिला के खाए और दर्द वाली जगह पर मालिश करे।
  • जिन्हे कम सुनाई देता है और बहरापन आने लगा है तो आगे बढ़ने से रोकने के लिए तिल या सरसों के तेल में दालचीनी पाउडर मिला के गरम करे और ठंडा होने पर छान ले। यह तेल एक बूँद हर रोज कान में डाले। संधिवात में गरम पानी में दालचीनी चूर्ण मिला के सेवन करे।
  • बच्चो को दालचीनी युक्त मिठाई और बिस्किट  वग़ैरह खिलाने से स्मरण शक्ति बढ़ती है।
  • अगर बिल्कुल स्वस्थ व्यक्ति भी नियमित रूप से रात को दालचीनी पाउडर का सेवन करे तो बीमारियो से बच के रहेगा। हर्बल टी बना के पिए तो अच्छी नींद आएगी और तनाव से मुक्ति मिलेगी। बुढ़ापे का असर भी लंबे समय तक नहीं होगा।
  • दस्त हो गए हो तो 3 से 5 ग्राम दालचीनी चूर्ण पानी में मिला के पिए।

सावधान: दालचीनी के नुकसान भी है!

क्योंकि दालचीनी में बहुत ही पावरफुल एसेंशियलऑयल्स(essential oils) और केमिकल्स है तो ज़्यादा लेने से शरीर को दालचीनी से नुकसान होता है। दालचीनी के फायदे के साथ और नुकसान भी है। कम मात्रा में फायदा और अधिक खा लिया तो नुकसान। जानिए दालचीनी के नुकसान हिन्दी में :  

  • दालचीनी में कूमेरिन है जो खून को पतला बना देता है और जल्दी से क्लॉटिंग नहीं होने देता है क्योंकि यह विटामिन 'k' के एक्शन को रोक देता है। अगर आप ऐसे कोई दवाई लेते है ब्लड प्रेशर के लिए और रक्त संबंधित बीमारी के लिए तो सावधान रहे दालचीनी से।
  • डाइयबिटीस में किड्नी याने गुर्दे कमजोर हो गये हो और अन्य दवाई लेते है तो दालचीनी के नुकसान यह है की यह गुर्दे को और ज़्यादा हानि पहुँचाएगा अगर ज़्यादा मात्रा में लिया गया तो इसीलिए 1/4 टी स्पून ही ले।
  • यकृत संबंधित रोग हो तो दालचीनी का उपयोग ना करे।
  • अगर महिला गर्भवती हो गयी है तो पहले स्टेज में दालचीनी पान से नुकसान यह होता है की गर्भपात हो जाता है।
  • हर रोज ज़्यादा मात्रा में ना ले। 10 ग्राम से अधिक दालचीनी ना ले। हर रोज लेने के बजाए एक दिन छोड़ के दूसरे दिन ले। या तो हफ्ते में सिर्फ़ तीन दिन ही इस का सेवन करे। इसका कारण है की दालचीनी एन्टीबैक्टिरीअल  है और यह पेट में खराब बैक्टीरिया के साथ अच्छे बैक्टीरिया का भी नाश करता है। तो दही भी आप को खाना होगा।
  • कूमेरिन बहुत पावरफुल तत्व है दालचीनी का जिस का सेवन एक समय पर 0.1 ग्राम से ज़्यादा नहीं होना चाहिए शरीर के प्रति किलो वजन पर। याने की 50 किलो वजन हो तो 5 ग्राम सेफ डोस है। एक किलो दालचीनी में 100 ग्राम कूमेरिन होता है।

यह है दालचीनी के फायदे और दालचीनी के नुकसान, और दालचीनी के प्रयोग व दालचीनी के देसी नुस्खे।

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3 Comments

ज़ोहरा, Nov 27, 2017

दालचीनी के हेल्थ फाएेदे किया हैं इसे किस प्रकार से यूज करें सभी बातें वृतान्त में बताएँ|

रेखा सचदेवा, Aug 28, 2017

आपने जो दालचीनी के फ़ाएदे वाला आर्टिकल लिखा है वो तो बहुत कमाल के हैं लेकिन मैं ये जानना चाहती हूँ की इसके खाली पेट सेवन करने से कोई साइड एफेक्ट तो नहीं होगा

himanshu, Feb 01, 2017

This is very helpful